वेस्ट इंडीज ने टेस्ट सीरीज के पहला टेस्ट सीरीज जीत लिया है और अब वह 32 साल के बाद फिर से इंग्लैंड में इंग्लैंड को हराने के लिए तैयार है। इंग्लैंड और वेस्ट इंडीज के बीच दूसरा टेस्ट मैच गुरुवार से शुरू होने जा रहा है। तीन टेस्ट मैचों की सीरीज का दूसरा मैच मैनचेस्टर ग्राउंड पर खेला जायेगा। अब तक वेस्ट इंडीज के नाम इंग्लैंड में तीन बड़ी जीत दर्ज हैं।
1966 में गारफील्ड सोबर्स ने दिखाया था जलवा
वेस्ट इंडीज के कप्तान गारफील्ड सोबर्स ने अपना आलराउंड खेल का प्रदर्शन करते हुए इंग्लैंड को पानी पिला दिया था। बैटिंग करते हुए उन्होंने 165 रनों की पारी खेली थी। टीम ने 484 रन बनाये थे। उनकी टीम के गेंदबाज लैंस गिब्स ने 37 रनों पर 5 विकेट लेकर इंग्लैंड की टीम को घुटनों के बल बैठा दिया था। इंग्लैंड की टीम कुल 167 ही बना पाई थी। इस तरह से उसे फालोआन का सामना करना पड़ा था। इसी तरह इस मैच में डेब्यू करने वाले कोलिन मिलबर्न ने भी 94 रन देकर पांच विकेट लिये थे। इस तरह से वेस्ट इंडीज ने इंग्लैंड को एक पारी और 40 रनों से हराया था। वेस्ट इंडीज ने यह सीरीज 3-1 से जीत ली थी।
1976 की जीत जबर्दस्त थी
1976 में वेस्ट इंडीज की जीत बहुत ही नाटकीय अंदाज में हुई थी। इंग्लैंड की ओर से डेब्यू करने वाले तेज गेंदबाज माइक सेल्वे ने तूफानी शुरूआत करते हुए वेस्ट इंडीज की सलामी जोड़ी रॉय फ्रेडरिक्स और आल्विन कालीचरण को शून्य पर आउट कर दिया था। इसके साथ ही धाकड़ बल्लेबाज विवियन रिचर्ड को 4 रन पर आउट करके टीम को करारा झटका दिया। इसके बाद गार्डन ग्रीनिज ने शतक बनाते हुए टीम का स्कोर 211 पर पहुंचाया। इसके जवाब में इंग्लैंड की टीम मात्र 71 रनबनाकर आउट हो गई। इसमें माइकल होल्डिंग ने 17 रन देकर पांच विकेट लिये थे। इसके बाद दूसरी पारी में भी गार्डन ग्रीनिज ने शतक बनाया और टीम की ओर से 5 विकेट पर 411 रन बनाये गये और पारी की घोषणा कर दी गई। इसके बाद दूसरी पारी में एंडी राबर्डस ने कहर बरपाते हुए 37 रन पर 6 विकेट लिये और इंग्लैंड को 425 रनों से हरा दिया। इसके बाद 1988 के मैच की सबसे खास बात यह थी कि मैल्कम मार्शल ने 22 रन देकर 7 विकेट चटकाये थे।
1966 में गारफील्ड सोबर्स ने दिखाया था जलवा
वेस्ट इंडीज के कप्तान गारफील्ड सोबर्स ने अपना आलराउंड खेल का प्रदर्शन करते हुए इंग्लैंड को पानी पिला दिया था। बैटिंग करते हुए उन्होंने 165 रनों की पारी खेली थी। टीम ने 484 रन बनाये थे। उनकी टीम के गेंदबाज लैंस गिब्स ने 37 रनों पर 5 विकेट लेकर इंग्लैंड की टीम को घुटनों के बल बैठा दिया था। इंग्लैंड की टीम कुल 167 ही बना पाई थी। इस तरह से उसे फालोआन का सामना करना पड़ा था। इसी तरह इस मैच में डेब्यू करने वाले कोलिन मिलबर्न ने भी 94 रन देकर पांच विकेट लिये थे। इस तरह से वेस्ट इंडीज ने इंग्लैंड को एक पारी और 40 रनों से हराया था। वेस्ट इंडीज ने यह सीरीज 3-1 से जीत ली थी।
1976 की जीत जबर्दस्त थी
1976 में वेस्ट इंडीज की जीत बहुत ही नाटकीय अंदाज में हुई थी। इंग्लैंड की ओर से डेब्यू करने वाले तेज गेंदबाज माइक सेल्वे ने तूफानी शुरूआत करते हुए वेस्ट इंडीज की सलामी जोड़ी रॉय फ्रेडरिक्स और आल्विन कालीचरण को शून्य पर आउट कर दिया था। इसके साथ ही धाकड़ बल्लेबाज विवियन रिचर्ड को 4 रन पर आउट करके टीम को करारा झटका दिया। इसके बाद गार्डन ग्रीनिज ने शतक बनाते हुए टीम का स्कोर 211 पर पहुंचाया। इसके जवाब में इंग्लैंड की टीम मात्र 71 रनबनाकर आउट हो गई। इसमें माइकल होल्डिंग ने 17 रन देकर पांच विकेट लिये थे। इसके बाद दूसरी पारी में भी गार्डन ग्रीनिज ने शतक बनाया और टीम की ओर से 5 विकेट पर 411 रन बनाये गये और पारी की घोषणा कर दी गई। इसके बाद दूसरी पारी में एंडी राबर्डस ने कहर बरपाते हुए 37 रन पर 6 विकेट लिये और इंग्लैंड को 425 रनों से हरा दिया। इसके बाद 1988 के मैच की सबसे खास बात यह थी कि मैल्कम मार्शल ने 22 रन देकर 7 विकेट चटकाये थे।
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