new

Friday, 2 June 2017

सूर्योदय के बाद तक सोने वाला दरिद्री क्यों होता है?

धन-धान्य,सुख-सम्पदा, शिक्षा,परिवार की तरक्की के लिए मनुष्य को देवों और पितरों का आशीर्वाद लेना चाहिए। इसके लिए मनुष्य को सूर्योदय से पूर्व जाग जाना चाहिए। सूर्योदय से पूर्व स्नान-ध्यान से निवृत्त होकर सूर्य देव का अघ्र्य करें तो सर्वोत्तम होगा। इससे पूर्व के पूजन-भजन और ध्यान सीधे देवों और पितरों से संवाद करने और उनके प्रत्यक्ष आशीर्वाद ग्रहण करने के समान है।
सूर्योदय के बाद तक सोने वाले दरिद्री,निर्धन,निर्बुद्धि और हर तरह से अयोग्य होते हैं। क्योंकि श्रीकृष्ण जी अर्जुन से संवाद में बताते हैं कि सूर्योदय से पूर्व एक पहर रात यानी सुबह चार बजे के बाद ब्रह्म मुहूर्त शुरू होता है। उस समय सारे देवता और पितृदेव धरती का भ्रमण करते हैं। उनके भक्त और उनकी संताने जागती हैं, नित्य कर्म से निवृत्त होकर पूजन-भजन करती मिलतीं हैं तो वे बहुत प्रसन्न होते हैं और बिना मांगे सारी खुशियों के वरदान दे जाते हैं। ऐसा मनुष्य इस लोक में सारे सुख भोग कर मोक्ष को प्राप्त होता है। 

No comments:

Post a Comment