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Friday, 13 January 2017

गांधी की खादी पर मोदी का कब्जा गलत नहीं

पीएमओ ने कांग्रेस और ममता बनर्जी की आलोचना का दिया करारा जवाब

खादी ग्रामोद्योग आयोग यानी केवीआईसी के 2017 के कैलेंडर और डायरी पर महात्मा गांधी की तस्वीर की जगह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की तस्वीर प्रकाशित किए जाने पर बहस छिड़ गई। कांग्रेस और तृणमूल कांगे्रेस ने जहां प्रधानमंत्री पर प्रहार कर कड़ी आलोचना की वहीं प्रधानमंत्री की ओर से प्रधानमंत्री कार्यालय यानी पीएमओ ने मोर्चा संभालते हुए करारा जवाब देकर सभी लाजवाब कर दिया।
 कांग्रेस के उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने जहां ट्वीट करके मंगलयान पर नाजायज हक जताने की कोशिश करने के प्रधानमंत्री नरेन्द्र पर आरोप लगाने के साथ कहा कि उनका अब खादी का श्रेय महात्मा गांधी से स्वयं लेने का प्रयास किया है जो निंदनीय है। कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि महात्मा गांधी और खादी हमारे इतिहास, आत्मनिर्भरता और स्वतंत्रता संग्राम के प्रतीक है। मोदी जी ने खादी ग्रामोद्योग के कैलेंडर व डायरी से महात्मा गांधी का चित्र हटाकर जघन्य पाप किया है।
तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष व पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री सुश्री ममता बनर्जी ने कहा कि मोदी बाबू ने खादी ग्रामोद्योग के कैलेंडर व डायरी में महात्मा गांंधी की जगह ले ली है। उन्होंने कहा कि गांधी जी तो राष्ट्रपिता था और वह क्या हैं?
आलोचनाओं का करारा जवाब देते हुए पीएमओ ने कहा कि केवाईआईसी में ऐसा कोई नियम नहीं है कि उसके कैलेंडर और डायरी से महात्मा गांधी की तस्वीर नहीं हटाई जा सकती। पीएमओ के सूत्रों ने कहा कि इससे पहले भी कई बार केवाईआईसी के दस्तावेजों से महात्मा गांधी की तस्वीर हटाई जा चुकी है। सूत्रों ने बताया कि 1996, 2002,2005,2011,2012,2013 और 2016 में भी केवाईआईसी के कैलेंडर और डायरी में महात्मा गांधी का चित्र नहीं छपा है। क्या कांग्रेस इस बात को देखेगी। पीएमओ के सूत्रों ने कहा कि मोदीजी के चित्र पर आपत्ति उठाने से पहले यह सोचना चाहिए कि उसके 50 वर्ष के राज में खादी की बिक्री केवल 2 से 7 प्रतिशत तक ही रही। लेकिन दो वर्ष में खारी की बिक्री 34 परसेंट हो गई। यह जादू पीएम मोदी ने ही किया है। वास्तव में मोदीजी यूथ के आइकन हैं और उन्होंने खादी को पूरे विश्व में लोकप्रिय बनाया। फिर इस पर इतना विवाद क्यों? 

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